राजस्थान में मुख्यमंत्री की पहल, अब हिंदी माध्यम में भी मिलेगी आयुर्विज्ञान की शिक्षा
जयपुर: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की पहल पर प्रदेश के मेडिकल कॉलेजों में अब चिकित्सा शिक्षा हिंदी माध्यम में भी उपलब्ध होगी। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री गजेन्द्र सिंह खींवसर के निर्देशन में चिकित्सा शिक्षा विभाग ने बजट घोषणा को पूरा करते हुए हिंदी दिवस के अवसर पर इस सुविधा की शुरुआत की है।
यहां हिंदी माध्यम की शुरुआत हो चुकी है
चिकित्सा शिक्षा विभाग की प्रमुख शासन सचिव श्रीमती गायत्री राठौड़ ने जानकारी दी कि पहले चरण में मारवाड़ मेडिकल यूनिवर्सिटी से संबद्ध डॉ. सम्पूर्णानंद मेडिकल कॉलेज, जोधपुर और बाड़मेर मेडिकल कॉलेज में इस सुविधा की शुरुआत की गई है। शैक्षणिक सत्र 2024-25 से इन दोनों मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों को विकल्प के आधार पर अंग्रेजी और हिंदी दोनों माध्यमों में शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलेगा।
दो मेडिकल कॉलेजों में हिंदी माध्यम से शिक्षा की सुविधा प्रारम्भ की गई है
चिकित्सा शिक्षा आयुक्त इकबाल खान ने बताया कि अब हिंदी माध्यम के विद्यार्थियों को अंग्रेजी माध्यम में संचालित आयुर्विज्ञान पाठ्यक्रमों में अध्ययन में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता था। इसे ध्यान में रखते हुए बजट में हिंदी माध्यम में भी पाठ्यक्रमों के संचालन की घोषणा की गई थी। हिंदी दिवस के मौके पर इस घोषणा को अमल में लाते हुए दो मेडिकल कॉलेजों में हिंदी माध्यम से शिक्षा की सुविधा प्रारम्भ की गई है। जल्द ही अन्य मेडिकल कॉलेजों में भी यह सुविधा उपलब्ध करवाई जाएगी।